लखनऊ/ पुलिस लाइन बैरेक की जर्जर छत ढही, एक सिपाही की मौत, तीन घायल, प्रदेश भर में दर्जनों पुलिस निवास जर्जर स्थिति


लखनऊ/ पुलिस लाइन बैरेक की जर्जर छत ढही, एक सिपाही की मौत, तीन घायल, प्रदेश भर में दर्जनों पुलिस निवास जर्जर स्थिति में


उत्तर प्रदेश के जनपद कानपुर में 24अगस्त की देर रात पुलिस लाइन में एक बैरक की छत अचानक ढह गई. इस हादसे में कई सिपाही मलबे के नीचे दब गए. राहत और बचाव टीमों ने मलबे से किसी तरह सिपाहियों को बाहर निकाला. उन्हें आनन-फानन में इलाज के लिए रीजेंसी अस्पताल ले जाया गया, जहाँ बुरी तरह से जख्मी एक सिपाही की इलाज के दौरान मौत हो गई, वहीं गंभीर रूप से घायल तीन सिपाहियों का इलाज चल रहा है. घटनास्थल पर आईजी, एसएसपी सहित तमाम आला अधिकारी मौके पर पहुँचे रहे.


प्रदेश भर में कई पुलिस निवास जर्जर, परिवार की जान जोखिम में डालकर जर्जर बिल्डिंगों में रह रहा पुलिस परिवार


आपको बता दें कि पुलिस लाइन आरआई ऑफिस के पीछे ही बैरक नम्बर एक है, वहां पर ग्राउंड प्लस वन इमारत का है. इसमे ग्राउंड फ्लॉर में हॉल के अलावा बरामदा बना हुआ है. वहीं पहली मंजिल पर कमरे के अलावा बरामदा है, जानकारी के मुताबिक देर रात लगभग 11 बजे ग्राउंड फ्लॉर के बरामदे में तीन सिपाही सो रहे थे. वहीं उसके ठीक ऊपर पहली मंजिल के बरामदे में पांच लोग सो रहे थे, एकाएक जर्जर बैरक हो चुकी पहली मंजिल का बरामदा एकाएक भरभरा कर ढह गया. जिससे नीचे सोने वाले तीन सिपाही मलबे में दबने से बुरी तरह घायल हो गए, जो सिपाही पहली मंजिल से गिरे उन्हें बहुत ज्यादा चोटें नहीं आई है, पर नींचे सो रहे सिपाही बुरी तरह से घायल हो गए. घटना में मैनपुरी के लालपुर गांव निवासी अरविंद सिंह की मौत हो गई. घटना के बाद पुलिस लाइन में हड़कम्प मच गया. सिपाही दौड़कर आए और घायल सिपाहियों को तत्काल पुलिस लाइन की वाहनों से हैलट ले जाया गया. उन्हें प्राथमिकी उपचार के बाद वहां से रीजेंसी ले जाया गया. बताया जा रहा हैकि बरसात में पिछले कई दिनों से बैरक की छत टपक भी रही थी, जिसे अनदेखा करना भारी पड़ गया.


गंभीर घायल सिपाही: सिपाही राकेश निवासी औरैया अच्छलदा, अमृतलाल निवासी सैनी कौशाम्बी और सिपाही मनीष निवासी अजीतमल औरैया घायल


यह भी जान लें कि पुलिस लाइन का बैरक नम्बर एक का बरामद 40 फिट लम्बा और 10 फिट चौड़ा है, इस बरामदे में 250 लोग रह रहे हैं. जानकारी के मुताबिक सभी के लिए यहाँ पर हॉल और कमरे की व्यवस्था है, पर बैरक जर्जर स्थिति में थी. गर्मी के कारण कुछ लोग बरामदे में सोते थे. घटना के बाद एसपी पश्चिमी डा. अनिल कुमार ने पब्लिक एडरस सिस्टम का प्रयोग कर पूरी बैरक को खाली करा दिया. आपको बता दें कि प्रदेश में ऐसी दर्जनों पुलिस बैरिके है जिनकी स्थिति ठीक नही है, यहाँ तक की कई बिल्डिंगे ऐसी है जिनमे पुलिस परिवार भी रह रहा है, जिनमे कभी भी बड़ी दुर्घटना घट सकती है. ऐसी बिल्डिंगों व बैरिको को जान परिवार सहित हथेली पर लेकर रह रहा उत्तर प्रदेश पुलिस का जवान.


Source :Agency news 


टिप्पणियाँ