लड़की ने DL बनवाने के लिए दिए डॉक्यूमेंट्स, लड़के ने बनवा लिया निकाहनामा, HC ने शादी को बताया अमान्य
महाराष्ट्र : बंबई हाईकोर्ट ने एक 37 वर्षीय व्यक्ति द्वारा बनाए गए निकाहनामा को चुनौती देने वाली 27 वर्षीय महिला की शादी को मान्यता देने से इनकार कर दिया है। महिला ने जोर देकर कहा कि उसने अपनी बड़ी बहन के एक दोस्त को ड्राइविंग लाइसेंस दिलाने में मदद करने के लिए अपने निजी दस्तावेज दिए। उसकी मदद से उसने यह साबित करने के लिए झूठे दस्तावेज तैयार किए कि उन्होंने इस्लामिक रीति-रिवाजों के अनुसार शादी की है। हाईकोर्ट की नागपुर पीठ ने सोमवार को महाराष्ट्र के विदर्भ क्षेत्र के अमरावती में फैमिली कोर्ट के इस निष्कर्ष को बरकरार रखते हुए विवाह को अमान्य घोषित कर दिया। कोर्ट ने कहा कि विवाह को स्थापित करने के लिए कोई ठोस सबूत नहीं हैं।जस्टिस एएस चंदुरकर और जीए सनप की बेंच ने कहा कि फैमिली कोर्ट ने यह निष्कर्ष निकाला कि कथित शादी की तारीख पर, चंद्रकला विवाह मंडल न तो रजिस्टर्ड था और न ही विवाह प्रमाण पत्र जारी करने के लिए अधिकृत था। आपको बता दें कि इसी विवाह केंद्र पर दोनों पर कथित तौर पर शादी होने का आरोप लगाया गया था।न्यायाधीशों ने यह भी नोट किया कि आदमी ने केवल वही निकाहनामा की कार्बन प्रतियां कोर्ट में पेश कीं। कोर्ट ने फैसला सुनाया कि यह विवाह के प्रमाण के रूप में स्वीकार्य नहीं था। पीठ ने यह भी कहा कि काजी द्वारा निर्मित मूल निकाहनामा कार्बन प्रतियों से मेल नहीं खाता। ऐसे में इस तरह की विसंगतियों ने शादी के तथ्य के बारे में संदेह पैदा किया।
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